Hindi kahani new : Romantic Story about love - कुसुम - एक अनसुलझी पहेली भाग - 36

वैसे तो रिआन शीतल की बजह से प्रॉब्लम में फस चुका था , लेकिन वो एक ठरकी इंसान था उसके मन में शीतल के बदन की चाहत एक बार फिर से मचल पड़ी , उसने अंजाम की परवाह किये बिना एक बार और शीतल से मिलने का मन बना लिया था | उसने शाम को शीतल के पास जाने का बंदोबस्त कर लिया था |
रोहित का आज का दिन बहुत ही टेंशन भरा रहा था , आज उसने अपने पापा के इलेक्शन के कार्यक्रम में भी हिस्सा नहीं लिया था , वो देर शाम को घर बापस आया और सीधा नीलम के रूम में गया और उसने नीलम से पूछा - ये लड़का कौन है |
नीलम ने कहा - भाई मुझे माफ़ करदे गलती हो गयी , आगे से ऐसा कुछ नहीं होगा |
रोहित ने कहा - देख नीलम , जो मैं पूछ रहा हूँ वो बता |
नीलम ने कहा - भाई तू उसके साथ कुछ गलत करेगा , इसलिए नहीं बता सकती |
रोहित ने कहा - नीलम अगर तू अपना और उस लड़के का भला चाहती है तो बता दे नहीं तो अंजाम बहुत बुरा होगा |
नीलम - भाई प्लीज हमे माफ़ करदे , आगे से ऐसी गलती नहीं होगी |
रोहित का गुस्सा बढ़ता ही जा रहा था , उसने नीलम को उसके बालो से पकड़ते हुए कहा - बता रही है या फिर पापा को बताऊ तेरी करतूत के बारे में ?
नीलम - आअह , छोड़ मुझे दर्द हो रहा है , जल्दी छोड़
रोहित ने उसे छोड़ते हुए फिर से पूछा - बता कौन है ये , कैसे जानती है इसे ?
नीलम ने भी अब अपनी आंखे निकली और बोली - नहीं बताऊगी , जा जिसे बोलना है बोल दे , लेकिन बोलने से पहले अपने और शीतल के मामले के बारे में याद जरूर कर लेना |
रोहित ने नीलम के गाल पर एक जोरदार थप्पड़ मारते हुए कहा - मुझे धमकी दे रही है |
थप्पड़ इतनी तेज था की उसकी गूंज रूम के बाहर तक सुनाई दिया , नीलम तो लगभग बेहोश हो ही गयी थी |
रोहित ने फिर से कहा - तुझे पता भी है , तेरे फोटो की एक पोस्ट अगर सोशल मीडिया पर आ गई तो पापा की इज्जत की धग्जियां उड़ जाएगी और उनका सरपंच बनने का सपना , सपना ही रह जायेगा |
नीलम का गुस्सा अब चरम पर था , उसने चीखते हुए कहा - और तेरा क्या , अपना नहीं देखा , पोस्ट तो तेरा भी आ सकता है , तूने कोनसे अच्छे काम किये है , दो दो लड़कियों को प्रग्नेंट किया है तूने , अब मेरा मुँह मत खुलवा |
रोहित ने नीलम का मुँह दबोचते हुए कहा - तो इसका मतलब तू घर की इज्जत बाहर लुटाएगी , रुक तेरा इंतजाम ही करना पड़ेगा | और रोहित इधर उधर देखने लगा | मौका देखते ही नीलम रूम से किसी तरह बाहर भाग खड़ी हुई |
रोहित नीलम का पीछा करने ही बाला था की उसे माँ की आबाज आयी , रोहित बेटा तुझे बाबूजी बुला रहे है , कोई जरुरी काम है | रोहित ने किसी तरह अपने गुस्से को कम किया और अपने पापा के रूम में चला गया |
शीतल को रिआन के नेचर के बारे में पता था , उसे पूरा भरोषा था की रिआन जरूर आएगा , इसलिए उसने पूरी तैयारी करली थी , उसने शराब से लेकर खाने तक का इंतजाम अपने हिसाब से कर रखा था , उसे ये भी पता था की बम फूट चुका है , अगर रियान आएगा भी तो आज बो सारी हदे पार करने ही आएगा , इसलिए उसने इंतजाम कुछ इस तरह से ही किया था | आज उसने अपना मेक-अप कुछ इसतरह से किया था की बो पहले से भी ज्यादा आकर्षक और खूबसूरत लगे ,और साथ ड्रेस ऐसी पहनी हुई थी की उसका बेबी बम्प दिखाई न दे , उसका अब बेबी बम्प उभरने लगा था |
मेक-अप और ड्रेस-अप करने के बाद जब शीतल ने खुद को शीशे के सामने जा कर निहारा तो बो निहायती खूबसूरत अदाकारा की भाति सुन्दर अप्सरा जैसी दिख रही थी , उसकी मोटी मोटी गोल कजरारी आंखे जो की उसके चेहरे की रौनक को और भी बढ़ा रही थी , उसने बालो को कुछ ऐसे संभाला हुआ था उसकी जुल्फे कानो के आगे से होती हुयी उसकी थोड़ी को बार उड़ उड़ के छू रही थी , आज वो पूरी तरह से किसी पारी से कम नहीं लग रही थी |
उसकी लाल और काली कलर की ड्रेस उसके शरीर की सुंदरता को चार चाँद लगा रहा था |
रात के 9 बजे और उसके कमरे के गेट की घंटी बजी , घंटी की अबाज सुनते ही बेड पर सजी बैठी शीतल ने कहा - अंदर आ जाओ |
गेट खुलता है और रिआन अंदर आ जाता है , लेकिन रिआन के चेहरे पर खुसी या जल्दबाजी बाले हाव् भाव नहीं थे , उसके चेहरे पर डर और भय की लकीरे साफ साफ देखी जा सकती थी |
रिआन को देख कर शीतल को कुछ अजीब सा लग रहा था , साथ ही उसे आश्चर्य भी हो रहा था की रिआन जैसा हब्सी अभी तक उस पर टूट के क्यों नहीं पड़ा |
शीतल ने उसे पसीना पूछने के लिए कपड़ा देते हुए पूछा - तुम घबरा क्यों रहे हो ? सब ठीक तो है न
रिआन ने कहा - हाँ सब ठीक है , वो तुम्हे ऐसे देखा तो पसीना आ गया
शीतल ने पूछा - क्या मैं डरावनी लग रही हूँ ?
रिआन ने झूठी हसी चेहरे पर लाते हुए कहा - नहीं मेरा मतलब एक दम किलर लग रही हो |
शीतल है पड़ी और बोली - वही खड़े रहोगे या फिर अंदर भी आओगे ,
हाँ आता हूँ अंदर , तुम्हारा वाशरूम यूज़ कर सकता हूँ ??
हाँ जो यूज़ करना है करो , आओ
थैंक्स बोलता हुआ रिआन वाशरूम के अंदर चला गया |
शीतल को शक था , उसने बाहर रूम से आकर देखा , लेकिन आस पास कुछ नहीं दिखा , फिर उसने रूम लॉक कर लिया | और रिआन के बाहर आने का इंतजार करने लगी .....
करीब 5 मिंट के बाद रिआन बाहर आया , तो शीतल ने उसे सोफे पर बैठने को कहा , रिआन बैठ गया और टेबल पर रखे गिलास और वोडका उठाया और बिना कुछ बोले ही उसने तीन चार पैग बनाये और पी गया , शीतल ने उसे रोका और कहा - सिर्फ पीने आये हो या फिर कुछ करना भी है ?
रिआन के हाथ में ग्लास था पूरा ख़तम करते हुए बोला - तुमने मेरे साथ धोका किया है |
शीतल ने रिआन की बात को हल्के में लेते हुए कहा - हाँ धोका तो किया है , लेकिन उसके पीछे मेरी बहुत बड़ी मजबूरी छुपी हुई है |
रिआन ने कहा - तुम्हारी मजबूरी , मेरी जान भी ले सकती है, तुम्हे पता है ?
शीतल ने कहा - तुम टेंशन न लो , तुम्हे कुछ नहीं होगा |
रिआन ने कहा - क्या गारंटी है ?
शीतल ने कहा - शीतल की प्रॉमिस ही गारंटी है तुम्हे कुछ नहीं होगा |
रिआन ने कहा - अरे हाँ तुम्हारा लास्ट काम क्या था जिसके लिए तुमने मुझे यहाँ बुलाया है
शीतल ने कहा - आज तुम मेरे लिए लालायित नहीं लग रहे , क्या मैं सुन्दर नहीं दिख रही
रिआन ने कहा - मैं प्रग्नेंट लेडी को अपनी हवस का शिकार नहीं बना सकता |
ये बात सुनते ही शीतल के चेहरे की हवा ही चली गयी , उसे पसीना आने लगा
रिआन ने कहा - घबराओ मत मुझे सब पता चल चुका है |
शीतल की अब नजरे झुक चुकी थी , उसने कहा - हम्म , यही मेरी मजबूरी है , जिसके चलते हमने तुम्हे इस्तेमाल किया
रिआन ने कहा - बताओ अब क्या करना है मुझे
शीतल ने कहा - करना कुछ नहीं है बस एक हेल्प और करदो ,
रिआन - बोलो
शीतल - रोहित की जिस लड़की से शादी हो रही है उसका पता करना है
रिआन - नहीं मैं उसकी इज्जत को नहीं उछाल सकता
शीतल - हम वादा करते है , ऐसा वैसा कुछ नहीं करेंगे , हमे सिर्फ उससे मिलना है |
रिआन ने कहा - देखो अपना प्रॉमिस निभाना , कल तक मेसेज कर दूंगा |
शीतल ने कहा - थैंक यू ,
अब रियान जाने लगा था , तो शीतल ने उसे रोका और कहा - agin thank you
रिआन ने कहा - its Ok
शीतल ने कहा - तुम नाराज हो न मुझसे
रिआन ने कहा - हाँ बहुत ,
शीतल - तो मैं अपने आशिक़ को मनाने के लिए क्या कर सकती हूँ
रिआन ने कहा - कुछ नहीं तुम खुश रहो ,
शीतल ने कहा - रिआन अगर तुम्हारी कोई डिजायर है तो पूरा कर सकते हो
रिआन ने कहा - नहीं , अब मैं किसी की मजबूरी का फायदा नहीं उठाना चाहता , और न कभी उठाऊंगा
शीतल के आँखों में आंसू थे , उसने सॉरी बोलते हुए कहा - मेने तो तुम्हारी मजबूरी का ही फायदा उठाया है |
रिआन ने कहा - हम्म इस बात से मैं बहुत नाराज हूँ
शीतल ने उसे सॉरी बोला और उसे बोला - क्या मैं तुम्हे एक hug कर सकती हूँ
रिआन ने अपनी बाहे फैला दी और शीतल रिआन के गले लग गयी |
शीतल ने गले लगते हुए कहा - मैं ही गलत थी मैंने तो तुम्हरी आँखों में हमेशा ही हवस देखी थी , मेने ये लॉयल्टी तो देखी ही नहीं |
रिआन ने कहा - हाँ मैं ठरकी हूँ लेकिन एक इंसान भी हूँ |
शीतल ने गदगद होते हुए कहा - रिआन में सच में तुमसे दोस्ती करना चाहती हूँ
रिआन ने अपना हाथ आगे बढ़ाया और शीतल से हाथ मिलते हुए कहा - पक्का
शीतल ने भी कहा - पक्का
अब ये दोस्ती थी या फिर दोनों तरफ से फिर से कोई नया लालच था , ये तो कहानी के अगले भागो में ही पता चलेगा ||
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